परिवार बिना कुछ नहीं – antarvasna sex story dosto Is kahani ke 2 Part hai agar ye part padha hai to Incest परिवार बिना कुछ नहीं – Part 2 -antarvasna sex story
chalo kahani ki suruvat karte hai —
कहानी के मुख्य पात्र=
करण ठाकुर = ये एक फार्मा कंपनी में क्वालिटी डायरेक्टर हैं । उम्र 44, लंबाई 6 फीट 4 इंच, दूध सा गोरा रंग । साथ ही साथ कुश्ती इनका अपना कुश्ती का अखाड़ा भी हैं क्योंकि ये खुद एक बड़े पहलवान हैं और जिस्म किसी सांड की तरह से तगड़ा हैं । चौड़ी छाती बिल्कुल काले बालों से भरी हुई जो किसी भी लड़की को दीवाना बना दे और इनका हथियार लिंग नहीं लोल्ला हैं बिल्कुल किसी घोड़े के जैसा जो किसी की भी चींख निकलवा दे।
काम्या = करण ठाकुर की वाइफ ।
उमर = 42, इनकी लंबाई 5 फीट 6 इंच है । अदभुत सौंदर्य की प्रतिमा, शरीर का हर एक अंग साचे में ढला हुआ, गोल चेहरा , गुलाबी होंठ , लाल रंगत लिए हुए गाल, लंबी सुराही दार गर्दन, पतली कमर और कश्मीरी सेब के साइज के ठोस मस्त गोल गोल बूब्स जिनके गुलाबी निप्पल पहाड़ की चोटियों की तरह से तने , केले के तने जैसे चिकने जांघे , और चूतड़ ऐसे जैसे और मस्त मस्त उभरे हुए नितम्ब जो कुछ ज्यादा ही पीछे की और निकले हुए हैं जो इनकी खूबसूरती में चार चांद लगा देते हैं ।

राम्या = घर की इकलौती लड़की जो सबकी जान हैं
उम्र 22 साल , लंबाई 6 फीट , सौंदर्य में बिल्कुल अपनी पर गई है बल्कि उससे भी ज्यादा खूबसूरत
34 साइज की मस्त उभरी हुई चूचियां जिन पर काले तिल और ढोल की तरह से बड़े बड़े नितम्ब।
अभी तक एक्टिंग में डिग्री ली है और अभी घर पर हैं ।
समर = बिल्कुल अपने नाम की तरह से ही किसी योद्धा कि तरह से दिखने वाला शरीर हो जिम करने की वजह से बिल्कुल ठोस हो गया है ।
उम्र 20 साल , लंबाई 6 फीट 3 इंच ।
खूबसूरत नौजवान , नीली आंखों वाला जो किसी को भी दीवाना बना दे । जब छोटा था तो दवा के साइड इफेक्ट्स के कारण लिंग आश्चर्यजनक रूप से बढ़ गया था जिसका बाद में ऑपरेशन करना पड़ा जिसकी वजह से इसके लिंग में मोटी मोटी गांठ पड़ गई थी
इसका लिंग बहुत मोटा और लम्बा हैं को आमतौर पर नहीं होता ।
मोहिका= समर की बुआ और करण की बहन हैं जो एक ब्यूटी पार्लर चलाती हैं ।
उम्र 32, लंबाई 5 फीट 2इंच है । सुडौल शरीर , एक दम परफेक्ट , जहां जितना मांस होना चाहिए ।। शादी वाले दिन जब ये ससुराल जा रही थी तो ऐक्सिडेंट की वजह से इसके पति की मौत हो गई थी जिस कारण ससुराल वालों ने नाराज होकर उस वापिस मायके भेज दिया था जिस कारण ये शादी शुदा होकर भी कुंवारी हैं और इसके सारे अरमान दिल में ही रह गए हैं ।तब से अपने भाई के साथ की रहती हैं ।
तो दोस्तो ये इस कहानी के मुख्य पात्र हैं और सारी कहानी इनके इर्द गिर्द ही घूमेंगी
आज सुबह से ही करण ठाकुर के यहां खुशी का माहौल बना हुआ था जिसकी वजह से उनकी शादी की एक और शानदार सालगिरह । घर का हर सदस्य सुबह से ही काम में व्यस्त था क्योंकि परिवार आने वाले मेहमानों की सेवा में कोई कसर नहीं छोड़ना चाहता था
करण ने एक शेरवानी जो कि हल्के गुलाबी रंग की थी पहनी हुई थी क्योंकि ये काम्या का पसंदीदा रंग था । शेर वानी में वो बेहद खूबसूरत लग रहा था। और काम्या तो जैसे स्वर्ग से उतरी हुई अप्सरा लग रही थी , उसका गोल चांद सा चेहरा , पिक रंग की हल्की लिपिस्टिक लगे होंठ जो किसी का भी ईमान खराब कर दे।
उसने भी पिंक कलर का एक बहुत ही शानदार तनी वाला वाला गाउन पहन रखा था जिस कारण उसकी पीठ पीछे से लगभग पूरी तरह से नंगी ही थी जिससे उसकी पतली कमर वहां मौजूद लोगो पर कहर ही ढा रही थी क्योंकि उसकी काले रंग की ब्रा की हूक साफ दिख रही थी । ब्रा उसकी कमर पर बहुत ही टाईट आ रही थी जिसका कारण था उसके ठोस और गोल गोल बूब्स जो किसी पहाड़ की चोटी की तरह से खड़े थे जिन्हें देखकर हर कोई करण से जलन महसूस कर रहा था कि “काम देवी” उनकी किस्मत में क्यों नहीं है ।
राम्या और समर आज दोनों बहुत खुश थे । राम्या ने ब्लू रंग की डेनिम की जींस और टॉप पहन रखा था ।टॉप का गला बड़ा होने और ब्रा टाइट होने के कारण बूब्स की गोलाई साफ दिख रही थी जो साबित कर रही कि उसके बूब्स कितने बड़े हैं। टाइट जीन्स होने के उसके नितम्बों का उभार साफ़ नज़र आ रहा था जो
बड़ी मुश्किल से उसकी जीन्स में समा रहे थे।
मोहीका ने एक काले रंग का सूट सलवार पहन रखा था जो गजब उसके गोरे रंग पर गजब लग रहा था ।खूबसूरती में किसी भी तरह से वो अपनी भाभी से कम नहीं थी । अभी तक कुंवारी होने के कारण सुन्दरता बढ़ती ही जा रही थी। और
समर भी आज बहुत खूबसूरत लग था जिसे देख कर पार्टी में आयी लड़कियां और औरतें आंहे भर रही थी।
पार्टी में बीयर का भी इंतजाम था जिसका सभी ने इस्तेमाल किया जिस कारण अधिकतर मेहमान स्टेज पर कपल डांस कर रहे थे जहां लाइट धीमी थी और जोड़े एक दूसरे में डूबे हुए थे।
इसी बीच करण काम्या को लेकर स्टेज पर पहुंच जाता है और उसकी बांहों में बांहे डालकर नाचने लगता है जिस जाता सबकी नजर उनकी तरफ उठ गई थी । करण के एक हाथ काम्या के हाथ में था और दूसरा हाथ धीरे धीरे उसकी कमर पर घूम रहा था जिससे उसके बदन में एक चिंगारी सुलग रही थी और वो पूरी तरह से करण से चिपकी हुई थी जिसका असर करण पर भी हो रहा था जिस करण उसका हथियार अपनी औकात पर आता जा रहा था।
करण: सालगिरह मुबारक हो मेरी जान, बहुत सुंदर लग रही हो
काम्या: आपको भी मुबारक हो मेरे सनम, आप भी गजब ढा रहे हो
करण: जी चाहता है कि तुम्हे कहीं एकांत में लेकर चलू और अपने सब अरमान पूरे करू ‘।
और ऐसा कहते हुए अपने लिंग को उसकी योनि पर जोर से दबा देता है जिससे काम्या की आह निकल जाती हैं और वो और जोर से करण से चिपक जाती हैं ।
तभी उसकी बहन महिका जिसे सब प्यार से माही कहते हैं करण को आवाज लगाती हैं –
माही: भैया रात के १० बजने वाले हैं , सभी मेहमानों को खाना खिलाया जाए
करण: जो हुक्म मेरी प्यारी बहन ।
और फिर सबको खाना परोस दिया जाता है और जल्दी ही सब मेहमान खाना खाकर अपने घर जाने लगते हैं साथ ही साथी उसको एक बार फिर से करण और राम्या को मुबारक बाद देते हैं जिसे दोनों खुशी से स्वीकार करते जाते हैं। एक एक करके घर के सब मेहमान चले जाते है और फिर घर के मेंबर रह जाते हैं बस घर में ।
समर: पापा आज की पार्टी बहुत अच्छी रही, मजा आ गया आज तो ‘
और ऐसा कहकर अपने पापा के गले लग जाता हैं और करण उस अपने गले लगा लेता हैं ।
और फिर वो अपनी मम्मी को अपनी बांहों में भर लेता है और उसके गाल पर किस करके फिर से मुबारक बाद देता हैं , राम्या भी उसे अपने गले लगा लेती हैं जिस कारण उसकी चूचिया उसके सीने में दब जाती हैं जिसका एहसास समर को अपनी सीने में साफ महसूस होता है और वो पीछे हट जाता है ।
दिन भर की भाग दौड़ की वजह से सब बहुत थक गए थे और राम्या और समर दोनों उपर बने अपने रूम में चले जाते हैं और बिस्तर पर पड़ते ही उन्हें नींद अपने आगोश में ले लेती हैं ।
माही: भाभी मैं भी थक गई हूं और अब सोने जाती हूं लेकिन जाने से पहले आपको आज का गिफ्ट देना चाहती हूं और ऐसा केहकर वो अपनी भाभी को अपने साथ अपने रूम में ले जाती हैं और जैसे ही वो रूम का दरवाजा खोलती हैं एक मस्त परफ्यूम की महक उन दोनों का स्वागत करती हैं । पूरा कमरा सुहागरात की तरह से सजाया हुआ था जिसमें बीच में एक गोल बेड पड़ा हुआ था जिस पर व्हाइट रंग की चादर उसकी शोभा बढ़ा रही थी और साथी ही रूम में जलता बाइट बल्ब कमरे की सुन्दरता में चार चांद लगा रहा था।
काम्या खुशी के मारे माही को अपनी बांहों में भर लेती है और उसके गालों पर किस की बरसात कर देती हैं ।
माही मुस्कुराते हुए: भाभी ये किस भैया के लिए बचा कर रखो । मुझसे ज्यादा आज उन्हें इनकी जरूरत है ” और ऐसा कहते हुए वो एक आंख मारकर कमरे से बाहर निकल जाती हैं और दूसरे रूम में चली जाती हैं ।
राम्या कमरे के अंदर से करण को कॉल करती है और उसे अपने पास आने को कहती हैं बहुत ही सेक्सी आवाज में जिसे सुनकर करण के बदन में हलचल मच जाती है और वो कमरे की तरफ चल देता है
जैसे ही करण कमरे के अंदर कदम रखता है एक तेज परफ्यूम की गंध उसे महसूस होती है और फिर उसकी नजर कमरे के अंदर बेड पर बैठी काम्या पर पड़ती है जो कि नाइट बल्ब की रोशनी में किसी काम देवी की तरह लग रही थी , ये देखकर करण के होंठो पर मुस्कुराहट आ जाती हैं और काम्या शर्म के मारे अपनी आंखे नीचे झुका लेती हैं , तभी करण उस उसे आवाज लगाता है ,
करण: क्या बात है आज बड़ी शर्म आ रही है मेरी जान को ,
काम्या: हटो जी आप क्या जानो शर्म का मतलब ?
करण तिरछी नजरों से देखते हुए: अब सारी रात ऐसे ही शर्माती रहोगी या मेरे पास भी आओगी मेरी बांहों में ??
और ऐसा कहकर वो अपने दोनो हाथ फैला देता है और काम्या दौड़कर उसकी बांहों में समा जाती हैं और उसके गालों पर किस की बरसात करने लगती हैं तो करण भी अपना एक हाथ उसके सिर के पीछे लाते हुए अपने होंठो को उसके रसभरे होंठो पर जैसे ही झुकाता हैं तो काम्या उस तड़पाते हुए अपना चेहरा दूसरी तरफ घूम देती हैं और करण के लिप उसके गालों से टकरा जाती हैं और काम्या की हंसी छूट जाती हैं तो करण भी उसे तड़पाने के लिए जोर से उसके गाल पर काट लेता है जिससे काम्या के मुंह से एक तेज सिसकारी निकल जाती हैं ।
काम्या: थोड़ा प्यार से मेरी जान , कहीं भागी नहीं जा रही हूं ‘
और ऐसा कहकर वो खुद ही अपने गुलाबी होंठ उसके होंठो और रख देती हैं और एक हाथ को उसकी गर्दन के पीछे लाते हुए उसके बालो में उंगली घुमाने लगती हैं तो करण भी उसके होठों पर टूट पड़ता है और उन्हें चूसने लगता है , कभी उपर वाले को चूसता हैं तो कभी नीचे वाले को,
दोनो के दिल की धड़कने बढ़ने लगती हैं और करण अपनी जीभ को उसके होंठ को खोलते हुए उसके मुंह के अंदर घुसा देता है और उसके मुंह का मुयाईना करने के बाद उसकी जीभ को चूसने लगता है ,काम्या जैसे हवा में उड़ने लगी थी और वो भी उसका साथ देते हुए उसकी जीभ से अपनी जीभ मिलाने लगती हैं जिसका असर सीधे करण के लिंग पर पड़ता है और वो अपनी औकात में आने लगता है ,
किस करते करते ही करण अपना एक हाथ पीछे ले जाकर उसके मोटे कठोर नितम्बो की सहलाने लगता हैं और साथ ही साथ हाथ में भर कर दबाने लगता है।
फिर दोनो के सांस जैसे ही उखड़ने लगती हैं तो दोनो सांस लेने के लिए रुकते हैं और फिर से लिप्स चूसना शुरू कर देते हैं , करण का लिंग पूरी तरह से खड़ा था जिसका एहसास काम्या को अपनी चूत पर हो रहा था और उसकी चूत में गीलापन आ जाता है , और वो किस तोड़कर करण के कानों में कहती है कि बेड पर ले चलो मेरी जान , अब सबर नहीं होता , और करण तुरंत उसके अपनी बांहों में किसी गुड़िया की तरह से उठा लेता है और बेड पर ले जाकर लिटा देता है और खुद उसके उपर लेट जाता है और फिर से उसके लिप्स को चूसने लगता है मानो उनमें से को मीठा रस निकल रहा हो, काम्या भी जोश में आते हुए अपने हाथ उसकी कमर पर के जाकर सहलाने लगती हैं और करण नीचे आते हुए अपने प्यास होंठ उसकी गर्दन पर रखा देता है और चूमने लगता है जिससे काम्या की चूत में गीलापन बढ़ने लगता हैं और करण अच्छी तरह से उसकी गरदन चूसने के बाद उसके बूब्स को हाथो में भरकर जोर दबाने लगता है , जो काम्या के सीने में एक मीठा तेज दर्द होने लगता हैं और उसके मुंह से हल्की हल्की सिसकारियां निकलनी शुरू हो जाती हैं तभी करण जोश में आते हुए उसके उरोजो को जोर से दबा देता है तो काम्या के मुंह से एक दर्द भारी चींख़ निकल जाती हैं और वो शिकायती लहजे में बोलती हैं थोड़ा प्यार से मेरी जान , मारने के इरादा है क्या ?
तभी करण प्यार में आते हुए उसके होंठ चूम लेता हैं और फिर धीरे से अपने हाथ पीछे ले जाए जाते हुए उसका गाउन निकालने लगता हैं और काम्या दोनो हाथ उपर उठा कर उसकी मदद करती है , गाउन के निकलते ही काम्या सिर्फ काले रंग की ब्रा पेंटी में आ जाती हैं जिसमें उसका शरीर गजब लग रहा था, करण उसे ध्यान से जी भर कर देखता है तो पाता है कि ब्रा उसकी चूचियों पर कितनी टाइट हैं ऐसा लग रहा था मानो उन्हें वहां जबरदस्ती कैद कर दिया गया है और ज्यादा कामुक हो जाने की वजह से उसकी चूत गीली हो गई थी जिसकी एहसास उसके गीली पेंटी को देख कर आराम से हो रहा था , करण जोश में आते हुए उसकी ब्रा पेंटी को बाहर निकाल कर फेंक देता है और अपने भी कपड़े निकाल देता है अब उसके जिस्म भी सिर्फ एक अंडरवियर था जो कि आगे से उठा हुआ था ।
करण काम्या के उपर लेट जाता है और उसकी चूचियों को हाथो में भरकर प्यार से दबाने लगता हैं जिससे जोश में आते हुए काम्या अपनी चूत को उसके भयंकर रूप से खड़े हो चुके लिंग पर दबाने लगती है , करण आगे बढ़ते हुए अपने होंठो को उसकी चूचियों पर रखते हुए उन्हें चूसने लगता है तो काम्या के मुंह से आह निकलने लगती हैं
काम्या: आह आह मेरी जान , खा जाओ आज मेरी चूचियों को ” देखो कैसे तड़प रही हैं आपके मुंह में आने के लिए ” और ऐसा कहकर अपने सीने को उपर की ओर उभार देती हैं जिससे उसकी चूचियां पूरी तरह से करण के मुंह में जाने लगती है और करण भी पागलों की तरह से उसकी चूचियों को चूसने लगता है और दूसरी को हाथ में भरकर दबाने लगता है तो काम्या से बर्दाश्त करना मुश्किल हो रहा था और वो नीचे से धक्के मारते हुए अपनी चूत को उसके लंड पर पूरी जोर से मारने हैं ,
तभी करण उसके एक निप्पल को मुंह से निकालते हुए दूसरे को चूसने लगता हैं और काम्या पागलों की तरह से सिसकारी लेते हुए मजा लेने लेती हैं ।
जी भर का उसके निप्पल को चूस लेने के बाद करण नीचे आते हुए अपनी जीभ को उसकी नाभि में घुसाने लगता है जिससे काम्या का बदन कांप जाता है और उसे बहुत ज्यादा गुदगुदी होने लगती हैं और वो इधर उधर मचलने लगती हैं लेकिन करण के भारी भरकम शरीर के नीचे दबे होने के कारण वो शांत हो होने पार मजबूर हो जाती हैं तभी करण नीचे आते हुए ध्यान से उसकी चूत को देखा है जो उत्तेजना के कारण पानी पानी हो चुकी थी और बेहद खूबसूरत लग रही है उसकी टाइट चूत जिसके दोनो गुलाबी लिप्स एक दूसरे से जुड़े हुए हैं जिनमें से काम रस निकल रहा था इतनी प्यारी चूत के दोनो लिप्स को करण अपने हाथो से खोलता हैं तो एक सेक्सी आवाज के साथ चूत के लिप खुल जाते हैं और करण अपना काबू खोते हुए अपने प्यासे होंठो को उसके चूत पर जोड़ देता है ।।।
Incest खाला जमीला – Part 1 – kambikuttan
मोहिका उपर बने कमरे में ले सीढ़ियां छड़कर पहुंचती हैं तो उसकी धड़कने थोड़ी तेज हो जाती हैं और दिन भर काम करने की वजह से उसका गला भी सुख गया था तो वो सीधे किचन की तरफ जाती है और फ्रिज में से बीयर की ठंडी बोतल निकालती हैं और गटागट पी जाती है।antarvasna sex story
आज वो बहुत खुश थी क्योंकि आज उसके प्यारे भैया की सालगिरह थी और वो अपने भाई की खुशी की लिए कुछ भी कर सकती थी क्योंकि ससुराल वालों ने जिस दिन से उसे वापिस भेज दिया था उस दिन से आज तक भाई ने किसी चीज की कमी नहीं आने दी और हमेशा उसका साथ दिया।भाभी ने भी तो उसे छोटी बहन सा प्यार दिया जिस कारण वो उन दोनों का बहुत सम्मान करती थी।
पता नहीं क्यों उसे लगता था कि उसकी ज़िन्दगी में कुछ कमी हैं क्योंकि वो जवान थी, खूबसूरत थी परियो की तरह और सांचे ढला हुआ जिस्म था उसका जिसे देख कर हर कोई दीवाना हो जाता था , वो चाहती थी कि कोई उसका भी ख्याल रखे , उसे भी प्यार करे लेकिन अपने साथ हुए हादसे से उसका दिल टूट गया था इसलिए वो डरती थी ।
जैसे ही वो बिस्तर पर जाती हैं तो नींद उसकी आंखो से कोसो दूर थी। उसका मन नहीं लग रहा था, दिल में कोई बेचैनी थी आज , रह रह कर उसे वो सीन याद आ रहा था कि भैया कितने प्यार से काम्या को बांहों में लिए नाच रहे थे और काम्या भी कैसे उनसे बेल की तरह से लिपटी हुई थी , जहां तब उसे खुशी हुई थी कि उसकी भाभी की कितना प्यार करने वाला पति मिला है वहीं अब नारी स्वभाव के कारण उसे जलन हो रही थी कि ऐसा पति उसकी किस्मत में क्यों नहीं हैं ।।
ये सब सोच सोच कर उसका मन नहीं लग रहा था और बिस्तर जैसे कांटो की सेज बन गया था ।जिस्म भी टूट रहा था और नींद उसकी आंखो से जैसे गायब हो गई थी । इतना बेबस उसने कभी महसूस नहीं किया था अपने आपको क्योंकि आज उसके उपर उसका कोई जोर नहीं चल रहा था , जिस्म जैसे उसके काबू में नहीं था और एक आग सी लगी हुई थी उसके अंदर आज । उसका भी मन करता था कि कोई उसे भी बांहों में लेे , उसे जी भरकर प्यार करे इतना प्यार करे कि उसके जिस्म की एक एक नस मटका दे और इस कदर बरसे कि उसकी अब तक की सारी प्यास बुझा दे। ये सोचते सोचते उसके दिल की धड़कन बढ़ जाती है और एक हाथ उसके दिल पर चला जाता है तो उसके हाथ में आती हैं उसकी चूचियां जो कि दूध सी गोरी थी , कठोर थी, तने हुए निप्पल जो बैठने का नाम नहीं लेते थे ।
चूची हाथ में आते ही इसके मुंह से आह निकल जाती हैं और और वो उसे हल्का सा दबा देती है, आज पहली बार उसकी चूची दबी भी तो उसके अपने ही हाथ से ये सोचकर उसके जिस्म के रोएं खड़े हो जाते है और वो बहकने लगती हैं और और फिर जोर जोर से चूची को दबाने लगती है । antarvasna sex story
जैसे जैसे उसके हाथो का दबाव चूची पर बढ़ता जा रहा था वैसे वैसे ही मजा बढ़ने के कारण उसका मुंह खुलता जा रहा था । और उसे एहसास हो रहा था कि वो उसका शरीर उसे इस कदर भी मजा दे सकता है । कपड़ों के ऊपर से चूची दबाने में उसे इतना मजा आ रहा है तो बिना कपड़ों के कितना आएगा ये खयाल में आते ही उसने अपने सूट को बाहर निकाल दिया और शीशे के सामने जाकर खड़ी हो गई । अब वो उपर खाली काले रंग की ब्रा पहने हुए थे जो कि उसे और सेक्सी बना रही थी । शीशे में जैसे ही उसकी नजरें खुद की नजरो से टकराती हैं तो मेरे शर्म के उसका चेहरा लाल हो जाता है और उसके नजरें झुक जाती हैं । फिर वो आंख बंद करके अपने हाथ अपनी ब्रा के हुक पर ले जाकर ब्रा खोल देती हैं जिससे उसकी चूचियां उछल कर बाहर आ जाती हैं जैसे उन्हें क़ैद से आजादी मिली हो , सेब की आकर की उसकी दो चूचियां , पूरी तरह से ठोस , रूई की तरह से मुलायम, गोरी इतनी की हाथ लगे तो मैली होने का डर, ये सब देखकर उसे खुद पर अभिमान होने लगता है कि सच में कितनी खूबसूरत हैं ।
फिर वो जोश में आते हुए अपनी दोनो चूचियों को हाथो में भर लेती हैं और उन्हें हल्का हल्का दबाने लगती हैं जिस कारण उसके मुंह से मस्ती भरी सिसकारी निकल पड़ती हैं और वो जोर जोर से अपनी चूची को दबाने लगती हैं । मजा बढ़ जाने की कारण उसकी आंखे लाल हो चुकी थी और गला सूखता जा रहा था , और मजा लेने के लालच में वो अपनी चूची के निप्पल को जो कि उपर की ओर उठाती हैं अपनी जीभ को लंबी निकाल कर उसे चाटने लगती हैं , जैसे ही उसकी जीभ निप्पल से टकराती हैं अत्यधिक मजे के कारण उसके हाथ से चूची छूट जाती हैं तो वो जल्दी से उसे फिर से पकड़कर उपर उठाती हैं और फिर से अपने होंठ उस पर जोड़ देती हैं, अब वो अपनी एक चूची को चूस रही थी और दूसरी को दबा रही थी ।
आज उसके मजे की कोई सीमा नहीं थी , मजा बढ़ जाने की कारण उसकी चूत गीली हो गईं थीं । गीली भी इतनी की उसका रस चूत से निकाल कर जांघो तक आ रहा था । उसकी चूत में एक अजीब सी खुजली मच चुकी थी जो उसके आनंद की दोगुना किए जा रही थी । और मजा लेने के लालच में वो अपने एक हाथ जो कि चूची दबा रहा था उसे नीचे लाती हैं और धीरे धीरे उसे अपनी चूत के उपर रख देती हैं जिस कारण उसके पूरे जिस्म में आग लग जाती हैं और पैर कमजोर पड़ने लगते हैं और वो वहीं फर्श पर लेट जाती हैं और मजे के कारण मुह से मस्ती भरी सिसकारियां निकलने लगती हैं जिस कारण उसकी चूत से और रस निकालने लगता हैं जो पूरी तरह से उसकी पेंटी को पूरी तरह से गीली करते हुए उसकी जांघो पर बह रहा था ।
जैसे ही उसके हाथ चूत पर लगते हैं उसकी उंगलियां रस से गीली हो जाती हैं और उसका में करता हैं कि वो अपनी चूत में उंगली डाल ले लेकिन उसने आज तक अपनी चूत में उंगली नहीं डाली थी वो चाहती थी कि पहली बार उसकी चूत में लौड़ा ही घुसे । ये बात याद आते ही वो चूत के उपर से उसे उसके छेद को सहलाने लगती हैं जिस कारण उसका जिस्म झटके खाने लगता है और उसका उसका मजा बहुत ज्यादा बढ़ चुका था । वो अपनी चूत के होंठो को अपनी उंगलियों से मसलने लगती लगती है जिस कारण उसका शरीर फर्श पर ही उपर नीचे होने लगता है । अब उसके जिस्म जिस्म पर उसका कोई। काबू नहीं थी । फिर वो अपने निप्पल को मुंह से निकालते हुए पेट के बल फर्श पर लेट जाती हैं और अपनी चिकनी चूत के नीचे अपने हाथ रखकर अपने उंगलियों पर धक्के मारने लगती हैं । आज उसके मजे के कोई सीमा नहीं थी , चूत से निकलता रस उसके हाथ को पूरी तरह से भिगोने के बाद फर्श पर भी गिर रहा था जिससे उसकी जांघें टकरा कर और ज्यादा चिकनी हो रही थी जिससे उसकी धक्के मारने कि स्पीड बढ़ती जा रही थी और साथ ही साथ बढ़ रहा था उसका मजा । तभी उसकी चूत में चीटियां सिर रेंगने लगती हैं और उसके धक्के की स्पीड बहुत तेज हो जाती हैं और फर्श से थप थप की आवाज आ रही थी जो उसे और ज्यादा उत्तेजित कर रही थी जिस करण उसे और ज्यादा मजा आ रहा था
तभी वो जोश में आते हुए बिजली कि गति से धक्के लगाने लगती हैं और नीचे से अपनी उंगली भी चूत पर रगड़ने लगती हैं । उसके मुंह से निकलती हुई कामुक आह आह, उफ्फ सी आई री की आवाजे पूरे कमरे में फैल रही थी । तभी उसकी चूत में एक विस्फोट होता है और वो आनंडितिरेक में जोर से चीखते हुए झड़ जाती हैं । उसके चूत से एक के बाद एक रस के फाव्वारे छूटने लगते हैं और मजे के कारण वो अपनी चूत को हाथ में भर कर भींच लेती हैं जिससे उसकी आंखे बंद हो जाती हैं और वो वहीं फर्श पर निढाल होकर गिर पड़ती है ।
जैसे ही करण के होंठ काम्या की चूत पर पड़ते हैं उसके होंठो से एक मस्ती भरी आह निकल जाती है और मजे से उसकी आंखे बंद हो जाती है। करण उसकी चूत पर उपर से लेकर नीचे तक जीभ घुमा रहा था जिससे काम्या की सिसकियां बढ़ती ही जा रही थी और उसकी चूत से ज्यादा रस निकल रहा था । करण अब उसकी नाजुक और गुलाबी चूत के दाने को जीभ से सहलाने लगता है तो काम्या की मुट्ठियां बिस्तर पर कसा जाती हैं , तभी करण उसकी चूत के होंठो को खोलते हुए अपनी जीभ अंदर डाल देता है जिससे काम्या का शरीर आपे से बाहर हो जाता है और वो मजा बढ़ जाने के कारण चिल्लाने लगती हैं ,
काम्या: आआ आह उफ़ सी ई खाओ जो मेरी चूत को । बहुत मजा आ रहा है मेरी जान , और अंदर तक चाटो । “
और सिसकियां लेती हुई उसके सिर को पकड़ कर अपनी चूत में अंदर की तरफ घुसाने लगती हैं जिससे करण जोश में आते हुए अंदर तक उसकी चूत को मूह में भरकर चूसने लगता है जिससे मजे के कारण काम्या की आंखे बंद हो जाती है और उसका जिस्म उपर की ओर उछलने लगता है करण के सिर की तरफ ताकि वो और अंदर घुस सके ।
aur bhi incest stories एक और घरेलू चुदाई -antarvasna stories jarur padhiye dosto!